〈maths phobia〉 ⇔ : गणित को एक स्कोरिंग सब्जेक्ट माना जाता है, लेकिन फिर भी ज्यादातर students maths के नाम से घबरा जाते है, और बच्चों में गणित का phobia हो जाता है. अगर आपको गणित के बारे में सोचकर या उसके सवालों को देखते ही घबराहट महसूस होने लगती है, तो इसका मतलब है कि आप मैथग्रस्त है और आपका आत्मविश्वास कम होने लग जाता है. मैथ्स ऐसा सब्जेक्ट है, जिसमें रटने से काम नही बनने वाला. इस विषय में आप जितना प्रेक्टिस करेंगे, उतना फायदा होगा. लेकिन क्लास में अच्छे अंक लाने के लिए यह जरूरी है कि आप phobia पर जीत हासिल कर लें. स्टूडेंटस को बुनियादी बातों को समझने में ज्यादा ध्यान और समय देने की जरूरत नही है. टीचर्स को चाहिये कि वे शुरू से ही अपने छात्र को basic concepts clear करवा दें. स्टूडेंटस को भी गणित की बुनियादी बातों को समझने में ज्यादा ध्यान और समय देना चाहिये. एक बार ये basic concepts समझ लिए तो फिरmaths बहुत easy हो जायेगा. maths के कंसेप्ट एक दूसरे से रिलेटेड होते है, और अगर आप शुरू में confused हो जाते है तो बाद में subject और tuff हो जाता है.